Varanasi: दो टेंडरों के जरिये 91.69 लाख रुपये के विभागीय नुकसान के आरोप में जल निगम ग्रामीण के मुख्य अभियंता विश्वेश्वर प्रसाद के खिलाफ जांच की कार्रवाई शुरू हो गयी है। शासन से इसकी मंजूरी भी मिल गई है।
इस आशय का पत्र जल निगम ग्रामीण के प्रबंध निदेशक डॉ. राजशेखर ने जारी किया है। इस मामले की जांच संयुक्त प्रबंध निदेशक प्रशासन राजेश कुमार प्रजापति को दी गई है।
प्रबंध निदेशक के मुताबिक, भगवानपुर में बैठने वाले मुख्य अभियंता ने मूनछपरा पेयजल योजना के दो टेंडर में से एक टेंडर की दरें स्वीकृत कीं। जो कि टेंडर प्रक्रिया का उल्लंघन है। सिवानकला पेयजल योजना निर्माण के लिए पहले टेंडर का अनुबंध गठित नहीं कराया। इससे विभाग को 74.70 लाख रुपये की क्षति हुई।









