शाहजहांपुर: तहसील परिसर में सफाई को लेकर दिए गए विवादित बयान के बाद IAS अधिकारी रिंकू सिंह को वकीलों के आक्रोश का सामना करना पड़ा। मामला इतना बढ़ गया कि शुक्रवार को उन्होंने वकीलों के समक्ष कान पकड़कर उठक–बैठक करते हुए माफी मांगी और अपने बयान पर खेद जताया।
दरअसल, अधिकारी ने कुछ दिनों पहले कथित तौर पर कहा था कि “तहसील परिसर में गंदगी करने वालों से उठक–बैठक करवाई जाएगी।” इस टिप्पणी को वकीलों ने अपमानजनक मानते हुए विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया था। अधिवक्ता समुदाय ने इसे सम्मान और गरिमा का मुद्दा बनाते हुए कार्य बहिष्कार और आंदोलन का रास्ता अपनाया।
बढ़ते तनाव के बीच शुक्रवार को रिंकू सिंह वकीलों के बीच पहुंचे और सार्वजनिक रूप से कान पकड़कर उठक-बैठक लगाई। उन्होंने कहा,”मेरा आशय किसी को ठेस पहुंचाने का नहीं था। यदि मेरे बयान से किसी को आघात पहुंचा है तो मैं क्षमा चाहता हूं।”
इस घटना के बाद वकीलों ने अपना आंदोलन समाप्त करने की घोषणा की। हालांकि, यह मामला प्रशासन और अधिवक्ताओं के बीच संबंधों की नाज़ुकता और सार्वजनिक भाषा की सावधानी की ओर स्पष्ट संकेत देता है।

Author: Ujala Sanchar
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