वाराणसी: भोजपुरी सुपरस्टार और आजमगढ़ के पूर्व सांसद दिनेश लाल यादव ‘निरहुआ’ ने वाराणसी में समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव पर कड़ा प्रहार किया। हाल ही में अखिलेश यादव द्वारा दिए गए “ब्राह्मण बनाम यादव” बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए निरहुआ ने इसे समाज को बांटने वाली राजनीति बताया और कहा कि यह “दोहरे चरित्र” की राजनीति है।
निरहुआ ने कहा कि “उधर अखिलेश यादव यादव बनाम ब्राह्मण की राजनीति कर रहे हैं और इधर आजमगढ़ में पीडीए (पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक) खोल रहे हैं। जनता अब उनके इस दोहरे चरित्र को भलीभांति समझ चुकी है।”
उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि अखिलेश यादव जानबूझकर हिंदू धर्म पर सवाल उठाते हैं, ताकि मुस्लिम समुदाय को खुश किया जा सके। उन्होंने कहा- “लोग खुश तब होंगे जब आप उनके लिए कुछ अच्छा करेंगे, न कि सिर्फ बयानों से।”
ब्राह्मणों को लेकर दिए बयान पर भी कसा तंज
ब्राह्मण समाज द्वारा दान देने के मुद्दे पर भी दिनेश लाल यादव ने अखिलेश पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, “कोई जबरदस्ती नहीं लेता, लोग अपनी श्रद्धा से देते हैं। ब्राह्मणों का अपमान करना ठीक नहीं।”
इसके साथ ही उन्होंने अखिलेश यादव के गृह प्रवेश समारोह में ब्राह्मणों को बुलाने को भी ढोंग करार दिया। “एक तरफ ब्राह्मणों से लड़ाई दिखा रहे हैं और दूसरी तरफ काशी से ब्राह्मणों को बुला रहे हैं। यह उनका दोहरा चेहरा है।”
राजनीतिक संदेश स्पष्ट
निरहुआ ने अपने बयान में स्पष्ट किया कि सपा प्रमुख की राजनीति अब उजागर हो चुकी है और जनता अब सिर्फ बयानबाज़ी से बहकने वाली नहीं है। उन्होंने कहा कि भाजपा और प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में समाज में समरसता और विकास का माहौल है, जबकि विपक्ष सिर्फ धार्मिक और जातीय मुद्दों पर राजनीति करता है।
यह हमला ऐसे समय में आया है जब उत्तर प्रदेश में राजनीतिक दल 2027 की तैयारियों में जुट गए हैं, और हर बयान अब चुनावी रणनीति का हिस्सा बनता जा रहा है।

Author: Ujala Sanchar
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