संयुक्त राष्ट्र के विश्व मौसम विज्ञान संगठन (डब्ल्यूएमओ) ने कहा है कि साल 2024 दुनिया का सबसे गर्म साल होने की राह पर है. डब्ल्यूएमओ का कहना है कि जनवरी और सितंबर के बीच का वैश्विक औसत तापमान 19वीं सदी के अंत के तापमान से लगभग 1.54 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा है.
बता दें की साल 2015 में पेरिस में लगभग 200 देशों ने जलवायु परिवर्तन के खराब प्रभाव को कम की उम्मीद में शपथ ली थी कि तापमान के बढ़ते स्तर को सीमित करने की कोशिश की जाएगी. लेकिन उसका साकारात्मक प्रभाव नही दिख रहा है।

Author: Ujala Sanchar
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